सरगुजा ज़िले में कानून व्यवस्था,परिवहन विभाग की सड़ांध मार रही व्यवस्था का नजारा आज ज़िला मुख्यालय अंबिकापुर में देखने को मिला।यहां बौरीपारा रिंग रोड पर क्षमता से भी काफी अधिक धान एक ट्रक में भरकर परिवहन किया जा रहा था। जब ये ट्रक बौरीपारा रिंग रोड में एक मोड़ पर था तो संतुलन खो बैठा और टर्निंग में ओवरलोड की वजह से पूरा ट्रक सड़क पर पलट गया।यह घटना दोपहर 2.30 बजे की है पास में एक स्कूल भी है।
वो तो ऊपर वाले की कृपा थी कि कोई भी स्कूली वैन या बच्चे उस समय आसपास से नहीं गुजर रहे थे न ही कोई राहगीर इसकी चपेट में आया।मगर इस घटना ने सरगुजा पुलिस के बड़े बड़े दावों की पूरी तरह से पोल खोलकर रख दी है।
हर थाने और परिवहन विभाग के दस्ते की जिम्मेदारी होती है कि सड़कों पर चलने वाले आम राहगीर सुरक्षित रहें।लेकिन कानून को धत्ता बताते हुए पूरे ज़िले में ओवरलोड गाड़ियां तेज गति से चलते हुए लोगों को साक्षात यमराज का दर्शन कराते रहती हैं।
जांच के नाम पर कभी कभार खानापूर्ति करके कोई कड़ी कार्रवाई न करने और सेटिंग कर लेने से इन ओवरलोड गाड़ीवालों व फटे साइलेंसर की गोलीनुमा आवाज़ से दहलाते मनचले ज़िला मुख्यालय अंबिकापुर में ही शहरवासियों समेत ज़िले के लोगों के लिए सरदर्द बनते जा रहे हैं।वहीं आलम ये है कि सरगुजा पुलिस भरपूर बेशर्मी के साथ बीच बीच में अपनी पीठ थपथपाने वाले कार्यक्रम को इवेंट की तरह कर जनता की आंख में खुलेआम धूल झोंक रही है।
शायद यहां की कानून व्यवस्था कोई बड़ी दुर्घटना का इंतज़ार करने में ही लगी है।सोचिए आज यदि इस ट्रक की चपेट में किसी घर का कोई चिराग आकर बुझ जाता तो क्या होता?
कानून विदों की मानें तो इस तरह कानून के खुलेआम उल्लंघन के लिए कड़े दंड का प्रावधान है मगर कानून के रखवाले जब खुद कानून की धज्जियां उड़ते देख आंखों में पट्टी बांध लें तो इससे बड़ा दुर्भाग्य क्या होगा।